बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के गौरेला ज्योतिपुर चौराहे पर एक विवाद की स्थिति बन गई। प्रदेश के पहले मुख्यमंत्री अजीत जोगी की प्रतिमा रहस्यमय तरीके से गायब हो गई है। प्रतिमा का अनावरण 29 मई 2025 को निर्धारित था। इस कार्यक्रम की सभी तैयारियां पूरी हो चुकी थीं। मंच सजाया जा रहा था और आमंत्रण पत्र भी वितरित किए जा चुके थे।
जानकारी के अनुसार, नगर पालिका सीएमओ ने प्रतिमा स्थापना स्थल पर आपत्ति जताई थी। लेकिन आयोजकों को न तो कोई पूर्व सूचना दी गई और न ही कोई वैकल्पिक व्यवस्था का सुझाव दिया गया। प्रतिमा के गायब होने की सूचना मिलते ही जोगी कांग्रेस के कार्यकर्ता और स्थानीय नागरिक मौके पर एकत्र हो गए। कार्यकर्ताओं ने प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की और प्रतिमा को वापस स्थापित करने की मांग कर रहे है।
वहीं, जोगी कांग्रेस के नेताओं ने इसे राजनीतिक षड्यंत्र बता रहे है। उनका कहना है कि अजीत जोगी मरवाही विधानसभा और छत्तीसगढ़ की पहचान थे। CCTV कैमरे में दिखाई दे रहा है कि रात के अंधेरे में प्रतिमा को हटाया जा रहा है। नगर पालिका गौरेला परिषद के कैंपस में फेंकी गई प्रतिमा कचरे की भांति फेंकी गई है। जोगी समर्थक उग्र प्रदर्शन करने की तैयारी कर रहे है।
पुलिस प्रशासन का कहना है कि, मामले में मुकदमा दर्ज किया जाएगा। जिस गाड़ी से प्रतिमा को हटाया गया है, उसकी पहचान CCTV के आधार पर कर ली गई है। मामले की जांच की जा रही है, इसमें जो लोग शामिल होंगे उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
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